वाशिंगटन। व्हाइट हाउस ने घोषणा की कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा प्रस्तावित नए आयात शुल्क (टैरिफ) कुछ लोगों की अपेक्षा से पहले ही लागू होने जा रहे हैं। पूर्व में दी गई जानकारी के अनुसार, यह टैरिफ 2 अप्रैल की देर रात या अगले दिन सुबह प्रभावी हो जाएंगे। इस फैसले के चलते अमेरिकी और वैश्विक बाजारों में चिंता का माहौल बना हुआ है।
सीएनएन की एक रिपोर्ट के अनुसार, ट्रंप प्रशासन की नई व्यापार नीति, जिसे ‘मुक्ति दिवस’ व्यापार नीति का नाम दिया गया है, अब तक की सबसे आक्रामक नीति बताई जा रही है। मंगलवार को व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव कैरोलिन लेविट ने प्रेस ब्रीफिंग में कहा कि राष्ट्रपति ट्रंप अपनी व्यापार नीति से जुड़े अधिकारियों और सलाहकारों के साथ बैठक कर रहे हैं। इसके बाद, अगले दिन शाम 4 बजे रोज गार्डन में टैरिफ की औपचारिक घोषणा करेंगे, और घोषणा होते ही यह तुरंत प्रभावी हो जाएंगे।
निवेशकों, अर्थशास्त्रियों और प्रमुख कंपनियों के सीईओ ने इस टैरिफ से भारी नुकसान की आशंका जताई है। ट्रंप ने सोमवार रात संवाददाताओं से कहा कि उन्होंने विस्तृत और व्यापक टैरिफ योजना को मंजूरी दे दी है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, ट्रंप 20 प्रतिशत से अधिक के टैरिफ की घोषणा कर सकते हैं।
मूडीज एनालिटिक्स के मुख्य अर्थशास्त्री मार्क जांडी के अनुसार, यदि टैरिफ 20% से अधिक हुआ, तो यह अमेरिकी अर्थव्यवस्था के लिए सबसे खराब स्थिति होगी। मूडीज के अनुसार, इस व्यापार युद्ध के चलते 5.5 मिलियन नौकरियां खत्म हो सकती हैं, बेरोजगारी दर 7% तक बढ़ सकती है और अमेरिकी जीडीपी में 1.7% की गिरावट आ सकती है। टैक्स फाउंडेशन की संघीय कर नीति की उपाध्यक्ष एरिका यॉर्क का कहना है कि ट्रंप का यह निर्णय अभूतपूर्व और क्रांतिकारी होगा।
संघीय व्यापार डेटा के अनुसार, आयातित वस्तुओं पर कुल 3.3 ट्रिलियन डॉलर का टैरिफ लगाया जाएगा। ट्रंप ने अपने पिछले कार्यकाल (2016-2020) के दौरान 380 बिलियन डॉलर के आयात पर टैरिफ लगाया था। इस बार, यह टैरिफ तब की तुलना में 10 गुना बड़ा होगा। पूर्व राष्ट्रपति विलियम मैककिनले ने 1890 के दशक में आयात करों को 50% तक बढ़ाया था, लेकिन ट्रंप के इस फैसले को उससे भी अधिक आक्रामक बताया जा रहा है।
जनवरी 2025 में पुनः राष्ट्रपति बनने के बाद, ट्रंप पहले ही चीन पर 20%, कनाडा और मैक्सिको पर 25% और स्टील और एल्युमिनियम पर 25% टैरिफ बढ़ा चुके हैं। अब इस नए फैसले से अमेरिकी और वैश्विक व्यापारिक माहौल में और अधिक अस्थिरता आने की संभावना है।
बी. रिले वेल्थ मैनेजमेंट के मुख्य बाजार रणनीतिकार आर्ट होगन ने कहा कि इस फैसले से बाजार में महंगाई की उच्च दरों की संभावना बढ़ गई है, क्योंकि मैककिनले के बाद इस तरह का व्यापार युद्ध पहले कभी नहीं देखा गया। अमेरिप्राइज के मुख्य बाजार रणनीतिकार एंथनी सैग्लिम्बेन के अनुसार, इन संभावित टैरिफ से बाजार में अनिश्चितता और घबराहट का माहौल है। वॉल स्ट्रीट के निवेशकों को डर है कि ट्रंप की आक्रामक व्यापार नीति अमेरिकी अर्थव्यवस्था को भारी नुकसान पहुंचा सकती है।